दिल्ली दरबार के इशारों पर चलने वाली कठपुतली बनकर रह गई है धामी सरकार

दिल्ली दरबार के इशारों पर चलने वाली कठपुतली बनकर रह गई है धामी सरकार
उत्तराखंड बनने के 25 वर्षों में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी जी की सरकार सबसे भ्रष्ट सरकार है। धामी जी के राज में सबसे ज्यादा भ्रष्टाचार हो रहा है। मंत्रियों और अधिकारियों के ऊपर बड़े-बड़े भ्रष्टाचार के आरोप हैं, लेकिन धामी जी अपने भ्रष्ट मंत्रियों और अधिकारियों को बचाने में लगे रहते हैं।
पुष्कर धामी जी ने प्रदेश को खनन माफियाओं, शराब माफियाओं, भू-माफियाओं, शिक्षा माफियाओं, स्वास्थ्य माफियाओं, नौकरी माफियाओं के हाथ में सौंप दिया है। क़ानून व्यवस्था पूरी तरह से पटरी से उतर गई है। बहिन-बेटियां और बच्चे बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं है। अपराध की घटनाएं बढ़ रही है। जंगलराज चल रहा है।
धामी जी ने अंकिता भंडारी हत्याकांड, पेपर लीक के आरोपियों को बचाने का काम किया है। मुख्यमंत्री ने मूल निवास, सशक्त भू कानून और गैरसैंण राजधानी को लेकर जनता से झूठ बोला है और उन्हें धोखा दिया है।
धामी जी चुनाव हारने के बाद भी दिल्ली द्वारा जबरदस्ती उत्तराखंड के मुख्यमंत्री थोपे गए हैं। वह एक कमजोर मुख्यमंत्री साबित हुए हैं, जो दिल्ली दरबार के इशारों पर चलने वाली कठपुतली बनकर रह गए हैं और बिना दिल्ली दरबार की आज्ञा से स्वयं कोई फैसला नहीं ले सकते हैं।
उत्तराखंड के लोगों को एक कमजोर, दिल्ली दरबार से चलने वाले मुख्यमंत्री और इस भ्रष्ट सरकार को हटाने के लिए एकजुट होना होगा।